हरियाणा की पहली महिला ड्रोन पायलट बनीं निशा सोलंकी, मगर अब भी अधर में भविष्य

करनाल: हरियाणा के करनाल जिले में लगभग 25 किसान आधुनिक दुनिया की इस नई मशीन- ड्रोन जो उनकी फसलों पर कीटनाशकों का छिड़काव करेंगे कि एक झलक पाने के लिए इकट्ठा हुए हैं.

उनके पास राज्य की पहली सर्टिफाइड महिला ड्रोन पायलट निशा सोलंकी के लिए कई सवाल थे, जो इस तकनीक के फायदों और पारंपरिक तरीके से कीटनाशक छिड़कने से होने वाले नुकसान के बारे में लोगों को समझा रही थीं.

हरी घास पर टकटकी लगाए किसान उस मशीन के पास जमा हो गए जो एक छोटे एयरक्राफ्ट के जैसा दिख रहा था.

तभी एक उत्साही किसान ने पूछा, “मैडम जी इसते कंधे ते ठा के फेंकना पड़ेगा के…” ब्लैक जींस और ग्रे टक इन टी-शर्ट पहनी हुई राज्य की पहली सर्टिफाइड महिला ड्रोन पायलट ने उन्हें पूरे जोश के साथ समझाया कि नहीं, इसे रिमोट से चलाया जाता है.

25-वर्षीय निशा बचपन से ही उड़ान भरने के सपने देखती थीं. उन्होंने मार्च 2022 में नागर विमानन महानिदेशालय (डीजीसीए) से कृषि क्षेत्र में ड्रोन ऑपरेटर की ट्रेनिंग पूरी की और रिमोट पायलट लाइसेंस (आरपीएल) हासिल कर राज्य की पहली सर्टिफाइड ड्रोन पायलट बन गईं.

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